John 8

عیسیٰ خود زیتون کے پہاڑ پر چلا گیا۔
और यीशु जैतून पर्वत पर चला गया।
اگلے دن پَو پھٹتے وقت وہ دوبارہ بیت المُقدّس میں آیا۔ وہاں سب لوگ اُس کے گرد جمع ہوئے اور وہ بیٹھ کر اُنہیں تعلیم دینے لگا۔
अलख सवेरे वह फिर मन्दिर में गया। सभी लोग उसके पास आये। यीशु बैठकर उन्हें उपदेश देने लगा।
اِس دوران شریعت کے علما اور فریسی ایک عورت کو لے کر آئے جسے زنا کرتے وقت پکڑا گیا تھا۔ اُسے بیچ میں کھڑا کر کے
तभी यहूदी धर्मशास्त्रि और फ़रीसी लोग व्यभिचार के अपराध में एक स्त्री को वहाँ पकड़ लाये। और उसे लोगों के सामने खड़ा कर दिया।
اُنہوں نے عیسیٰ سے کہا، ”اُستاد، اِس عورت کو زنا کرتے وقت پکڑا گیا ہے۔
और यीशु से बोले, “हे गुरु, यह स्त्री व्यभिचार करते रंगे हाथों पकड़ी गयी है।
موسیٰ نے شریعت میں ہمیں حکم دیا ہے کہ ایسے لوگوں کو سنگسار کرنا ہے۔ آپ کیا کہتے ہیں؟“
मूसा का विधान हमें आज्ञा देता है कि ऐसी स्त्री को पत्थर मारने चाहियें। अब बता तेरा क्या कहना है?”
اِس سوال سے وہ اُسے پھنسانا چاہتے تھے تاکہ اُس پر الزام لگانے کا کوئی بہانہ اُن کے ہاتھ آ جائے۔ لیکن عیسیٰ جھک گیا اور اپنی اُنگلی سے زمین پر لکھنے لگا۔
यीशु को जाँचने के लिये यह पूछ रहे थे ताकि उन्हें कोई ऐसा बहाना मिल जाये जिससे उसके विरुद्ध कोई अभियोग लगाया जा सके। किन्तु यीशु नीचे झुका और अपनी उँगली से धरती पर लिखने लगा।
جب وہ اُس سے جواب کا تقاضا کرتے رہے تو وہ کھڑا ہو کر اُن سے مخاطب ہوا، ”تم میں سے جس نے کبھی گناہ نہیں کیا، وہ پہلا پتھر مارے۔“
क्योंकि वे पूछते ही जा रहे थे इसलिये यीशु सीधा तन कर खड़ा हो गया और उनसे बोला, “तुम में से जो पापी नहीं है वही सबसे पहले इस औरत को पत्थर मारे।”
پھر وہ دوبارہ جھک کر زمین پر لکھنے لگا۔
और वह फिर झुककर धरती पर लिखने लगा।
یہ جواب سن کر الزام لگانے والے یکے بعد دیگرے وہاں سے کھسک گئے، پہلے بزرگ، پھر باقی سب۔ آخرکار عیسیٰ اور درمیان میں کھڑی وہ عورت اکیلے رہ گئے۔
जब लोगों ने यह सुना तो सबसे पहले बूढ़े लोग और फिर और भी एक-एक करके वहाँ से खिसकने लगे और इस तरह वहाँ अकेला यीशु ही रह गया। यीशु के सामने वह स्त्री अब भी खड़ी थी।
پھر اُس نے کھڑے ہو کر کہا، ”اے عورت، وہ سب کہاں گئے؟ کیا کسی نے تجھ پر فتویٰ نہیں لگایا؟“
यीशु खड़ा हुआ और उस स्त्री से बोला, “हे स्त्री, वे सब कहाँ गये? क्या तुम्हें किसी ने दोषी नहीं ठहराया?”
عورت نے جواب دیا، ”نہیں خداوند۔“ عیسیٰ نے کہا، ”مَیں بھی تجھ پر فتویٰ نہیں لگاتا۔ جا، آئندہ گناہ نہ کرنا۔“
स्त्री बोली, “हे, महोदय! किसी ने नहीं।” यीशु ने कहा, “मैं भी तुम्हें दण्ड नहीं दूँगा। जाओ और अब फिर कभी पाप मत करना।”
پھر عیسیٰ دوبارہ لوگوں سے مخاطب ہوا، ”دنیا کا نور مَیں ہوں۔ جو میری پیروی کرے وہ تاریکی میں نہیں چلے گا، کیونکہ اُسے زندگی کا نور حاصل ہو گا۔“
फिर वहाँ उपस्थित लोगों से यीशु ने कहा, “मैं जगत का प्रकाश हूँ। जो मेरे पीछे चलेगा कभी अँधेरे में नहीं रहेगा। बल्कि उसे उस प्रकाश की प्राप्ति होगी जो जीवन देता है।”
فریسیوں نے اعتراض کیا، ”آپ تو اپنے بارے میں گواہی دے رہے ہیں۔ ایسی گواہی معتبر نہیں ہوتی۔“
इस पर फ़रीसी उससे बोले, “तू अपनी साक्षी अपने आप दे रहा है, इसलिये तेरी साक्षी उचित नहीं है।”
عیسیٰ نے جواب دیا، ”اگرچہ مَیں اپنے بارے میں ہی گواہی دے رہا ہوں توبھی وہ معتبر ہے۔ کیونکہ مَیں جانتا ہوں کہ مَیں کہاں سے آیا ہوں اور کہاں کو جا رہا ہوں۔ لیکن تم کو تو معلوم نہیں کہ مَیں کہاں سے آیا ہوں اور کہاں جا رہا ہوں۔
उत्तर में यीशु ने उनसे कहा, “यदि मैं अपनी साक्षी स्वयं अपनी तरफ से दे रहा हूँ तो भी मेरी साक्षी उचित है क्योंकि मैं यह जानता हूँ कि मैं कहाँ से आया हूँ और कहाँ जा रहा हूँ। किन्तु तुम लोग यह नहीं जानते कि मैं कहाँ से आया हूँ और कहाँ जा रहा हूँ।
تم انسانی سوچ کے مطابق لوگوں کا فیصلہ کرتے ہو، لیکن مَیں کسی کا بھی فیصلہ نہیں کرتا۔
तुम लोग इंसानी सिद्धान्तों पर न्याय करते हो, मैं किसी का न्याय नहीं करता।
اور اگر فیصلہ کروں بھی تو میرا فیصلہ درست ہے، کیونکہ مَیں اکیلا نہیں ہوں۔ باپ جس نے مجھے بھیجا ہے میرے ساتھ ہے۔
किन्तु यदि मैं न्याय करूँ भी तो मेरा न्याय उचित होगा। क्योंकि मैं अकेला नहीं हूँ बल्कि परम पिता, जिसने मुझे भेजा है वह और मैं मिलकर न्याय करते हैं।
تمہاری شریعت میں لکھا ہے کہ دو آدمیوں کی گواہی معتبر ہے۔
तुम्हारे विधान में लिखा है कि दो व्यक्तियों की साक्षी न्याय संगत है।
مَیں خود اپنے بارے میں گواہی دیتا ہوں جبکہ دوسرا گواہ باپ ہے جس نے مجھے بھیجا۔“
मैं अपनी साक्षी स्वयं देता हूँ और परम पिता भी, जिसने मुझे भेजा है, मेरी ओर से साक्षी देता है।”
اُنہوں نے پوچھا، ”آپ کا باپ کہاں ہے؟“ عیسیٰ نے جواب دیا، ”تم نہ مجھے جانتے ہو، نہ میرے باپ کو۔ اگر تم مجھے جانتے تو پھر میرے باپ کو بھی جانتے۔“
इस पर लोगों ने उससे कहा, “तेरा पिता कहाँ है?” यीशु ने उत्तर दिया, “न तो तुम मुझे जानते हो, और न मेरे पिता को। यदि तुम मुझे जानते, तो मेरे पिता को भी जान लेते।”
عیسیٰ نے یہ باتیں اُس وقت کیں جب وہ اُس جگہ کے قریب تعلیم دے رہا تھا جہاں لوگ اپنا ہدیہ ڈالتے تھے۔ لیکن کسی نے اُسے گرفتار نہ کیا کیونکہ ابھی اُس کا وقت نہیں آیا تھا۔
मन्दिर में उपदेश देते हुए, भेंट-पात्रों के पास से उसने ये शब्द कहे थे। किन्तु किसी ने भी उसे बंदी नहीं बनाया क्योंकि उसका समय अभी नहीं आया था।
ایک اَور بار عیسیٰ اُن سے مخاطب ہوا، ”مَیں جا رہا ہوں اور تم مجھے ڈھونڈ ڈھونڈ کر اپنے گناہوں میں مر جاؤ گے۔ جہاں مَیں جا رہا ہوں وہاں تم نہیں پہنچ سکتے۔“
यीशु ने उनसे एक बार फिर कहा, “मैं चला जाऊँगा और तुम लोग मुझे ढूँढोगे। पर तुम अपने ही पापों में मर जाओगे। जहाँ मैं जा रहा हूँ तुम वहाँ नहीं आ सकते।”
یہودیوں نے پوچھا، ”کیا وہ خود کشی کرنا چاہتا ہے؟ کیا وہ اِسی وجہ سے کہتا ہے، ’جہاں مَیں جا رہا ہوں وہاں تم نہیں پہنچ سکتے‘؟“
फिर यहूदी नेता कहने लगे, “क्या तुम सोचते हो कि वह आत्महत्या करने वाला है? क्योंकि उसने कहा है तुम वहाँ नहीं आ सकते जहाँ मैं जा रहा हूँ।”
عیسیٰ نے اپنی بات جاری رکھی، ”تم نیچے سے ہو جبکہ مَیں اوپر سے ہوں۔ تم اِس دنیا کے ہو جبکہ مَیں اِس دنیا کا نہیں ہوں۔
इस पर यीशु ने उनसे कहा, “तुम नीचे के हो और मैं ऊपर से आया हूँ। तुम सांसारिक हो और मैं इस जगत से नहीं हूँ।
مَیں تم کو بتا چکا ہوں کہ تم اپنے گناہوں میں مر جاؤ گے۔ کیونکہ اگر تم ایمان نہیں لاتے کہ مَیں وہی ہوں تو تم یقیناً اپنے گناہوں میں مر جاؤ گے۔“
इसलिये मैंने तुमसे कहा था कि तुम अपने पापों में मरोगे। यदि तुम विश्वास नहीं करते कि वह मैं हूँ, तुम अपने पापों में मरोगे।”
اُنہوں نے سوال کیا، ”آپ کون ہیں؟“ عیسیٰ نے جواب دیا، ”مَیں وہی ہوں جو مَیں شروع سے ہی بتاتا آیا ہوں۔
फिर उन्होंने यीशु से पूछा, “तू कौन है?” यीशु ने उन्हें उत्तर दिया, “मैं वही हूँ जैसा कि प्रारम्भ से ही मैं तुमसे कहता आ रहा हूँ।
مَیں تمہارے بارے میں بہت کچھ کہہ سکتا ہوں۔ بہت سی ایسی باتیں ہیں جن کی بنا پر مَیں تم کو مجرم ٹھہرا سکتا ہوں۔ لیکن جس نے مجھے بھیجا ہے وہی سچا اور معتبر ہے اور مَیں دنیا کو صرف وہ کچھ سناتا ہوں جو مَیں نے اُس سے سنا ہے۔“
तुमसे कहने को और तुम्हारा न्याय करने को मेरे पास बहुत कुछ है। पर सत्य वही है जिसने मुझे भेजा है। मैं वही कहता हूँ जो मैंने उससे सुना है।”
سننے والے نہ سمجھے کہ عیسیٰ باپ کا ذکر کر رہا ہے۔
वे यह नहीं जान पाये कि यीशु उन्हें परम पिता के बारे में बता रहा है।
چنانچہ اُس نے کہا، ”جب تم ابنِ آدم کو اونچے پر چڑھاؤ گے تب ہی تم جان لو گے کہ مَیں وہی ہوں، کہ مَیں اپنی طرف سے کچھ نہیں کرتا بلکہ صرف وہی سناتا ہوں جو باپ نے مجھے سکھایا ہے۔
फिर यीशु ने उनसे कहा, “जब तुम मनुष्य के पुत्र को ऊँचा उठा लोगे तब तुम जानोगे कि वह मैं हूँ। मैं अपनी ओर से कुछ नहीं करता। मैं यह जो कह रहा हूँ, वही है जो मुझे परम पिता ने सिखाया है।
اور جس نے مجھے بھیجا ہے وہ میرے ساتھ ہے۔ اُس نے مجھے اکیلا نہیں چھوڑا، کیونکہ مَیں ہر وقت وہی کچھ کرتا ہوں جو اُسے پسند آتا ہے۔“
और वह जिसने मुझे भेजा है, मेरे साथ है। उसने मुझे कभी अकेला नहीं छोड़ा क्योंकि मैं सदा वही करता हूँ जो उसे भाता है।”
یہ باتیں سن کر بہت سے لوگ اُس پر ایمان لائے۔
यीशु जब ये बातें कह रहा था, तो बहुत से लोग उसके विश्वासी हो गये।
جو یہودی اُس کا یقین کرتے تھے عیسیٰ اب اُن سے ہم کلام ہوا، ”اگر تم میری تعلیم کے تابع رہو گے تب ہی تم میرے سچے شاگرد ہو گے۔
सो यीशु उन यहूदी नेताओं से कहने लगा जो उसमें विश्वास करते थे, “यदि तुम लोग मेरे उपदेशों पर चलोगे तो तुम वास्तव में मेरे अनुयायी बनोगे।
پھر تم سچائی کو جان لو گے اور سچائی تم کو آزاد کر دے گی۔“
और सत्य को जान लोगे। और सत्य तुम्हें मुक्त करेगा।”
اُنہوں نے اعتراض کیا، ”ہم تو ابراہیم کی اولاد ہیں، ہم کبھی بھی کسی کے غلام نہیں رہے۔ پھر آپ کس طرح کہہ سکتے ہیں کہ ہم آزاد ہو جائیں گے؟“
इस पर उन्होंने यीशु से प्रश्न किया, “हम इब्राहीम के वंशज हैं और हमने कभी किसी की दासता नहीं की। फिर तुम कैसे कहते हो कि तुम मुक्त हो जाओगे?”
عیسیٰ نے جواب دیا، ”مَیں تم کو سچ بتاتا ہوں کہ جو بھی گناہ کرتا ہے وہ گناہ کا غلام ہے۔
यीशु ने उत्तर देते हुए कहा, “मैं तुमसे सत्य कहता हूँ। हर वह जो पाप करता रहता है, पाप का दास है।
غلام تو عارضی طور پر گھر میں رہتا ہے، لیکن مالک کا بیٹا ہمیشہ تک۔
और कोई दास सदा परिवार के साथ नहीं रह सकता। केवल पुत्र ही सदा साथ रह सकता है।
اِس لئے اگر فرزند تم کو آزاد کرے تو تم حقیقتاً آزاد ہو گے۔
अतः यदि पुत्र तुम्हें मुक्त करता है तभी तुम वास्तव में मुक्त हो। मैं जानता हूँ तुम इब्राहीम के वंश से हो।
مجھے معلوم ہے کہ تم ابراہیم کی اولاد ہو۔ لیکن تم مجھے قتل کرنے کے درپَے ہو، کیونکہ تمہارے اندر میرے پیغام کے لئے گنجائش نہیں ہے۔
पर तुम मुझे मार डालने का यत्न कर रहे हो। क्योंकि मेरे उपदेशों के लिये तुम्हारे मन में कोई स्थान नहीं है।
مَیں تم کو وہی کچھ بتاتا ہوں جو مَیں نے باپ کے ہاں دیکھا ہے، جبکہ تم وہی کچھ سناتے ہو جو تم نے اپنے باپ سے سنا ہے۔“
मैं वही कहता हूँ जो मुझे मेरे पिता ने दिखाया है और तुम वह करते हो जो तुम्हारे पिता से तुमने सुना है।”
اُنہوں نے کہا، ”ہمارا باپ ابراہیم ہے۔“ عیسیٰ نے جواب دیا، ”اگر تم ابراہیم کی اولاد ہوتے تو تم اُس کے نمونے پر چلتے۔
इस पर उन्होंने यीशु को उत्तर दिया, “हमारे पिता इब्राहीम हैं।” यीशु ने कहा, “यदि तुम इब्राहीम की संतान होते तो तुम वही काम करते जो इब्राहीम ने किये थे।
اِس کے بجائے تم مجھے قتل کرنے کی تلاش میں ہو، اِس لئے کہ مَیں نے تم کو وہی سچائی سنائی ہے جو مَیں نے اللہ کے حضور سنی ہے۔ ابراہیم نے کبھی بھی اِس قسم کا کام نہ کیا۔
पर तुम तो अब मुझे यानी एक ऐसे मनुष्य को, जो तुमसे उस सत्य को कहता है जिसे उसने परमेश्वर से सुना है, मार डालना चाहते हो। इब्राहीम ने तो ऐसा नहीं किया।
نہیں، تم اپنے باپ کا کام کر رہے ہو۔“ اُنہوں نے اعتراض کیا، ”ہم حرام زادے نہیں ہیں۔ اللہ ہی ہمارا واحد باپ ہے۔“
तुम अपने पिता के कार्य करते हो।” फिर उन्होंने यीशु से कहा, “हम व्यभिचार के परिणाम स्वरूप पैदा नहीं हुए हैं। हमारा केवल एक पिता है और वह है परमेश्वर।”
عیسیٰ نے اُن سے کہا، ”اگر اللہ تمہارا باپ ہوتا تو تم مجھ سے محبت رکھتے، کیونکہ مَیں اللہ میں سے نکل آیا ہوں۔ مَیں اپنی طرف سے نہیں آیا بلکہ اُسی نے مجھے بھیجا ہے۔
यीशु ने उन्हें उत्तर दिया, “यदि परमेश्वर तुम्हारा पिता होता तो तुम मुझे प्यार करते क्योंकि मैं परमेश्वर में से ही आया हूँ। और अब मैं यहाँ हूँ। मैं अपने आप से नहीं आया हूँ। बल्कि मुझे उसने भेजा है।
تم میری زبان کیوں نہیں سمجھتے؟ اِس لئے کہ تم میری بات سن نہیں سکتے۔
मैं जो कह रहा हूँ उसे तुम समझते क्यों नहीं? इसका कारण यही है कि तुम मेरा संदेश नहीं सुनते।
تم اپنے باپ ابلیس سے ہو اور اپنے باپ کی خواہشوں پر عمل کرنے کے خواہاں رہتے ہو۔ وہ شروع ہی سے قاتل ہے اور سچائی پر قائم نہ رہا، کیونکہ اُس میں سچائی ہے نہیں۔ جب وہ جھوٹ بولتا ہے تو یہ فطری بات ہے، کیونکہ وہ جھوٹ بولنے والا اور جھوٹ کا باپ ہے۔
तुम अपने पिता शैतान की संतान हो। और तुम अपने पिता की इच्छा पर चलना चाहते हो। वह प्रारम्भ से ही एक हत्यारा था। और उसने सत्य का पक्ष कभी नहीं लिया। क्योंकि उसमें सत्य का कोई अंश तक नहीं है। जब वह झूठ बोलता है तो सहज भाव से बोलता है क्योंकि वह झूठा है और सभी झूठों को जन्म देता है।
لیکن مَیں سچی باتیں سناتا ہوں اور یہی وجہ ہے کہ تم کو مجھ پر یقین نہیں آتا۔
“पर क्योंकि मैं सत्य कह रहा हूँ, तुम लोग मुझमें विश्वास नहीं करोगे।
کیا تم میں سے کوئی ثابت کر سکتا ہے کہ مجھ سے کوئی گناہ سرزد ہوا ہے؟ مَیں تو تم کو حقیقت بتا رہا ہوں۔ پھر تم کو مجھ پر یقین کیوں نہیں آتا؟
तुममें से कौन मुझ पर पापी होने का लांछन लगा सकता है। यदि मैं सत्य कहता हूँ, तो तुम मेरा विश्वास क्यों नहीं करते?
جو اللہ سے ہے وہ اللہ کی باتیں سنتا ہے۔ تم یہ اِس لئے نہیں سنتے کہ تم اللہ سے نہیں ہو۔“
वह व्यक्ति जो परमेश्वर का है, परमेश्वर के वचनों को सुनता है। इसी कारण तुम मेरी बात नहीं सुनते कि तुम परमेश्वर के नहीं हो।”
یہودیوں نے جواب دیا، ”کیا ہم نے ٹھیک نہیں کہا کہ تم سامری ہو اور کسی بدروح کے قبضے میں ہو؟“
उत्तर में यहूदियों ने उससे कहा, “यह कहते हुए क्या हम सही नहीं थे कि तू सामरी है और तुझ पर कोई दुष्टात्मा सवार है?”
عیسیٰ نے کہا، ”مَیں بدروح کے قبضے میں نہیں ہوں بلکہ اپنے باپ کی عزت کرتا ہوں جبکہ تم میری بےعزتی کرتے ہو۔
यीशु ने उत्तर दिया, “मुझ पर कोई दुष्टात्मा नहीं है। बल्कि मैं तो अपने परम पिता का आदर करता हूँ और तुम मेरा अपमान करते हो।
مَیں خود اپنی عزت کا خواہاں نہیں ہوں۔ لیکن ایک ہے جو میری عزت اور جلال کا خیال رکھتا اور انصاف کرتا ہے۔
मैं अपनी महिमा नहीं चाहता हूँ पर एक ऐसा है जो मेरी महिमा चाहता है और न्याय भी करता है।
مَیں تم کو سچ بتاتا ہوں کہ جو بھی میرے کلام پر عمل کرتا رہے وہ موت کو کبھی نہیں دیکھے گا۔“
मैं तुम्हें सत्य कहता हूँ यदि कोई मेरे उपदेशों को धारण करेगा तो वह मौत को कभी नहीं देखेगा।”
یہ سن کر لوگوں نے کہا، ”اب ہمیں پتا چل گیا ہے کہ تم کسی بدروح کے قبضے میں ہو۔ ابراہیم اور نبی سب انتقال کر گئے جبکہ تم دعویٰ کرتے ہو، ’جو بھی میرے کلام پر عمل کرتا رہے وہ موت کا مزہ کبھی نہیں چکھے گا۔‘
इस पर यहूदी नेताओं ने उससे कहा, “अब हम यह जान गये हैं कि तुम में कोई दुष्टात्मा समाया है। यहाँ तक कि इब्राहीम और नबी भी मर गये और तू कहता है यदि कोई मेरे उपदेश पर चले तो उसकी मौत कभी नहीं होगी।
کیا تم ہمارے باپ ابراہیم سے بڑے ہو؟ وہ مر گیا، اور نبی بھی مر گئے۔ تم اپنے آپ کو کیا سمجھتے ہو؟“
निश्चय ही तू हमारे पूर्वज इब्राहीम से बड़ा नहीं है जो मर गया। और नबी भी मर गये। फिर तू क्या सोचता है? तू है क्या?”
عیسیٰ نے جواب دیا، ”اگر مَیں اپنی عزت اور جلال بڑھاتا تو میرا جلال باطل ہوتا۔ لیکن میرا باپ ہی میری عزت و جلال بڑھاتا ہے، وہی جس کے بارے میں تم دعویٰ کرتے ہو کہ ’وہ ہمارا خدا ہے۔‘
यीशु ने उत्तर दिया, “यदि मैं अपनी महिमा करूँ तो वह महिमा मेरी कुछ भी नहीं है। जो मुझे महिमा देता है वह मेरा परम पिता है। जिसके बारे में तुम दावा करते हो कि वह तुम्हारा परमेश्वर है।
لیکن حقیقت میں تم نے اُسے نہیں جانا جبکہ مَیں اُسے جانتا ہوں۔ اگر مَیں کہتا کہ مَیں اُسے نہیں جانتا تو مَیں تمہاری طرح جھوٹا ہوتا۔ لیکن مَیں اُسے جانتا اور اُس کے کلام پر عمل کرتا ہوں۔
तुमने उसे कभी नहीं जाना। पर मैं उसे जानता हूँ, यदि मैं यह कहूँ कि मैं उसे नहीं जानता तो मैं भी तुम लोगों की ही तरह झूठा ठहरूँगा। मैं उसे अच्छी तरह जानता हूँ, और जो वह कहता है उसका पालन करता हूँ।
تمہارے باپ ابراہیم نے خوشی منائی جب اُسے معلوم ہوا کہ وہ میری آمد کا دن دیکھے گا، اور وہ اُسے دیکھ کر مسرور ہوا۔“
तुम्हारा पूर्वज इब्राहीम मेरा दिन को देखने की आशा से आनन्द से भर गया था। उसने देखा और प्रसन्न हुआ।”
یہودیوں نے اعتراض کیا، ”تمہاری عمر تو ابھی پچاس سال بھی نہیں، تو پھر تم کس طرح کہہ سکتے ہو کہ تم نے ابراہیم کو دیکھا ہے؟“
फिर यहूदी नेताओं ने उससे कहा, “तू अभी पचास बरस का भी नहीं है और तूने इब्राहीम को देख लिया।”
عیسیٰ نے اُن سے کہا، ”مَیں تم کو سچ بتاتا ہوں، ابراہیم کی پیدائش سے پیشتر ’مَیں ہوں‘۔“
यीशु ने इस पर उनसे कहा, “मैं तुम्हें सत्य कहता हूँ। इब्राहीम से पहले भी मैं हूँ।”
اِس پر لوگ اُسے سنگسار کرنے کے لئے پتھر اُٹھانے لگے۔ لیکن عیسیٰ غائب ہو کر بیت المُقدّس سے نکل گیا۔
इस पर उन्होंने यीशु पर मारने के लिये बड़े-बड़े पत्थर उठा लिये किन्तु यीशु छुपते-छुपाते मन्दिर से चला गया।