וירא יהודה המסר אותו כי הרשיעהו וינחם וישב את שלשים הכסף אל הכהנים הגדולים והזקנים לאמר׃
यीशु को पकड़वाने वाले यहूदा ने जब देखा कि यीशु को दोषी ठहराया गया है, तो वह बहुत पछताया और उसने प्रमुख याजकों और बुज़ुर्ग यहूदी नेताओं को चाँदी के वे तीस सिक्के लौटा दिये।
ויקחו ראשי הכהנים את הכסף ויאמרו לא נכון לנו לתתו אל ארון הקרבן כי מחיר דמים הוא׃
प्रमुख याजकों ने वे सिक्के उठा लिए और कहा, “हमारे नियम के अनुसार इस धन को मन्दिर के कोष में रखना उचित नहीं है क्योंकि इसका इस्तेमाल किसी को मरवाने कि लिए किया गया था।”
אז נתמלא מה שנאמר ביד ירמיה הנביא ויקחו שלשים הכסף אדר היקר אשר יקר מעל בני ישראל׃
इस प्रकार परमेश्वर का, भविष्यवक्ता यिर्मयाह के द्वारा कहा यह वचन पूरा हुआ:
“उन्होंने चाँदी के तीस सिक्के लिए, वह रकम जिसे इस्राएल के लोगों ने उसके लिये देना तय किया था।
ויהי כשבתו על כסא הדין ותשלח אליו אשתו לאמר אל יהי לך דבר עם הצדיק הזה כי בעבורו עניתי הרבה היום בחלום׃
पिलातुस जब न्याय के आसन पर बैठा था तो उसकी पत्नी ने उसके पास एक संदेश भेजा, “उस सीधे सच्चे मनुष्य के साथ कुछ मत कर बैठना। मैंने उसके बारे में एक सपना देखा है जिससे आज सारे दिन मैं बेचैन रही।”
ויהי כראות פילטוס כי לא יועיל מאומה ורבתה עוד המהודה ויקח מים וירחץ את ידיו לעיני העם ויאמר נקי אנכי מדם הצדיק הזה אתם תראו׃
पिलातुस ने देखा कि अब कोई लाभ नहीं। बल्कि दंगा भड़कने को है। सो उसने थोड़ा पानी लिया और भीड़ के सामने अपने हाथ धोये, वह बोला, “इस व्यक्ति के खून से मेरा कोई सरोकार नहीं है। यह तुम्हारा मामला है।”
וישרגו קצים ויעשו עטרת וישימו על ראשו וקנה בימינו ויכרעו לפניו ויתלוצצו בו לאמר שלום לך מלך היהודים׃
काँटों से बना एक ताज उसके सिर पर रख दिया। उसके दाहिने हाथ में एक सरकंडा थमा दिया और उसके सामने अपने घुटनों पर झुक कर उसकी हँसी उड़ाते हुए बोले, “यहूदियों का राजा अमर रहे।”
לכן צוה נא ויסכר מבוא הקבר עד היום השלישי פן יבאו תלמידיו בלילה וגנבהו ואמרו אל העם הנה קם מן המתים והיתה התרמית האחרונה רעה מן הראשונה׃
तो आज्ञा दीजिये कि तीसरे दिन तक कब्र पर चौकसी रखी जाये। जिससे ऐसा न हो कि उसके शिष्य आकर उसका शव चुरा ली जायें और लोगों से कहें वह मरे हुओं में से जी उठा। यह दूसरा छलावा पहले छलावे से भी बुरा होगा।”