Genesis 41

وَحَدَثَ مِنْ بَعْدِ سَنَتَيْنِ مِنَ الزَّمَانِ أَنَّ فِرْعَوْنَ رَأَى حُلْمًا: وَإِذَا هُوَ وَاقِفٌ عِنْدَ النَّهْرِ،
दो वर्ष बाद फ़िरौन ने सपना देखा। फिरौन ने सपने में देखा कि वह नील नदी के किनारे खड़ा है।
وَهُوَذَا سَبْعُ بَقَرَاتٍ طَالِعَةٍ مِنَ النَّهْرِ حَسَنَةِ الْمَنْظَرِ وَسَمِينَةِ اللَّحْمِ، فَارْتَعَتْ فِي رَوْضَةٍ.
तब फ़िरौन ने सपने में नदी से सात गायों को बाहर आते देखा। गायें मोटी और सुन्दर थीं। गायें वहाँ खड़ी थीं और घास चर रही थीं।
ثُمَّ هُوَذَا سَبْعُ بَقَرَاتٍ أُخْرَى طَالِعَةٍ وَرَاءَهَا مِنَ النَّهْرِ قَبِيحَةِ الْمَنْظَرِ وَرَقِيقَةِ اللَّحْمِ، فَوَقَفَتْ بِجَانِبِ الْبَقَرَاتِ الأُولَى عَلَى شَاطِئِ النَّهْرِ،
तब सात अन्य गायें नदी से बाहर आईं, और नदी के किनारे मोटी गायों के पास खड़ी हो गईं। किन्तु ये गायें दुबली और भद्दी थीं।
فَأَكَلَتِ الْبَقَرَاتُ الْقَبِيحَةُ الْمَنْظَرِ وَالرَّقِيقَةُ اللَّحْمِ الْبَقَرَاتِ السَّبْعَ الْحَسَنَةَ الْمَنْظَرِ وَالسَّمِينَةَ. وَاسْتَيْقَظَ فِرْعَوْنُ.
ये सातों दुबली गायें, सुन्दर मोटी सात गायों को खा गईं। तब फ़िरौन जाग उठा।
ثُمَّ نَامَ فَحَلُمَ ثَانِيَةً: وَهُوَذَا سَبْعُ سَنَابِلَ طَالِعَةٍ فِي سَاق وَاحِدٍ سَمِينَةٍ وَحَسَنَةٍ.
फ़िरौन फिर सोया और दूसरी बार सपना देखा। उसने सपने में अनाज की सात बालें एक अनाज के पीछे उगी हुई देखीं। अनाज की बालें मोटी और अच्छी थीं।
ثُمَّ هُوَذَا سَبْعُ سَنَابِلَ رَقِيقَةٍ وَمَلْفُوحَةٍ بِالرِّيحِ الشَّرْقِيَّةِ نَابِتَةٍ وَرَاءَهَا.
तब उसने उसी अनाज के पीछे सात अन्न बालें उगी देखीं। अनाज की ये बालें पतली और गर्म हवा से नष्ट हो गई थीं।
فَابْتَلَعَتِ السَّنَابِلُ الرَّقِيقَةُ السَّنَابِلَ السَّبْعَ السَّمِينَةَ الْمُمْتَلِئَةَ. وَاسْتَيْقَظَ فِرْعَوْنُ، وَإِذَا هُوَ حُلْمٌ.
तब सात पतली बालों ने सात मोटी और अच्छी वालों को खा लिया। फ़िरौन फिर जाग उठा और उसने समझा कि यह केवल सपना ही है।
وَكَانَ فِي الصَّبَاحِ أَنَّ نَفْسَهُ انْزَعَجَتْ، فَأَرْسَلَ وَدَعَا جَمِيعَ سَحَرَةِ مِصْرَ وَجَمِيعَ حُكَمَائِهَا. وَقَصَّ عَلَيْهِمْ فِرْعَوْنُ حُلْمَهُ، فَلَمْ يَكُنْ مَنْ يُعَبِّرُهُ لِفِرْعَوْنَ.
अगली सुबह फ़िरौन इन सपनों के बारे में परेशान था। इसलिए उसने मिस्र के सभी जादूगरों को और सभी गुणी लोगों को बुलाया। फ़िरौन ने उनको सपना बताया। किन्तु उन लोगों में से कोई भी सपने को स्पष्ट या उसकी व्याख्या न कर सका।
ثُمَّ كَلَّمَ رَئِيسُ السُّقَاةِ فِرْعَوْنَ قَائِلاً: «أَنَا أَتَذَكَّرُ الْيَوْمَ خَطَايَايَ.
तब दाखमधु देने वाले नौकर को यूसुफ याद आ गया। नौकर ने फ़िरौन से कहा, “मेरे साथ जो कुछ घटा वह मुझे याद आ रहा है।
فِرْعَوْنُ سَخَطَ عَلَى عَبْدَيْهِ، فَجَعَلَنِي فِي حَبْسِ بَيْتِ رَئِيسِ الشُّرَطِ أَنَا وَرَئِيسَ الْخَبَّازِينَ.
आप मुझ पर और एक दूसरे नौकर पर क्रोधित थे और आपने हम दोनों को कारागार में डाल दिया था।
فَحَلُمْنَا حُلْمًا فِي لَيْلَةٍ وَاحِدَةٍ أَنَا وَهُوَ. حَلُمْنَا كُلُّ وَاحِدٍ بِحَسَبِ تَعْبِيرِ حُلْمِهِ.
कारागार में एक ही रात हम दोनों ने सपने देखे। हर सपना अलग अर्थ रखता था।
وَكَانَ هُنَاكَ مَعَنَا غُلاَمٌ عِبْرَانِيٌّ عَبْدٌ لِرَئِيسِ الشُّرَطِ، فَقَصَصْنَا عَلَيْهِ، فَعَبَّرَ لَنَا حُلْمَيْنَا. عَبَّرَ لِكُلِّ وَاحِدٍ بِحَسَبِ حُلْمِهِ.
एक हिब्रू युवक हम लोगों के साथ कारागार में था। वह अंगरक्षको के नायक का नौकर था। हम लोगों ने अपने सपने उसको बताए और उसने सपने की व्याख्या हम लोगों को समझाई। उसने हर सपने का अर्थ हम लोगों को बताया।
وَكَمَا عَبَّرَ لَنَا هكَذَا حَدَثَ. رَدَّنِي أَنَا إِلَى مَقَامِي، وَأَمَّا هُوَ فَعَلَّقَهُ».
जो अर्थ उसने बताए वे ठीक निकले। उसने बताया कि मैं स्वतन्त्र होऊँगा और अपनी पुरानी नौकरी फिर पाऊँगा और यही हुआ। उसने कहा कि रोटी पकाने वाला मरेगा और वही हुआ।”
فَأَرْسَلَ فِرْعَوْنُ وَدَعَا يُوسُفَ، فَأَسْرَعُوا بِهِ مِنَ السِّجْنِ. فَحَلَقَ وَأَبْدَلَ ثِيَابَهُ وَدَخَلَ عَلَى فِرْعَوْنَ.
इसलिए फ़िरौन ने यूसुफ को कारागार से बुलाया। रक्षक जल्दी से यूसुफ को कारागार से बाहर लाए। यूसुफ ने बाल कटाए और साफ कपड़े पहने। तब वह गया और फ़िरौन के सामने खड़ा हुआ।
فَقَالَ فِرْعَوْنُ لِيُوسُفَ: «حَلُمْتُ حُلْمًا وَلَيْسَ مَنْ يُعَبِّرُهُ. وَأَنَا سَمِعْتُ عَنْكَ قَوْلاً، إِنَّكَ تَسْمَعُ أَحْلاَمًا لِتُعَبِّرَهَا».
तब फ़िरौन ने यूसुफ से कहा, “मैंने एक सपना देखा है। किन्तु कोई ऐसा नहीं है जो सपने की व्याख्या मुझको समझा सके। मैंने सुना है कि जब कोई सपने के बारे में तुमसे कहता है तब तुम सपनों की व्याख्या और उन्हें स्पष्ट कर सकते हो।”
فَأَجَابَ يُوسُفُ فِرْعَوْنَ: «لَيْسَ لِي. اَللهُ يُجِيبُ بِسَلاَمَةٍ فِرْعَوْنَ».
यूसुफ ने उत्तर दिया, “मेरी अपनी बुद्धि नहीं है कि मैं सपनों को समझ सकूँ केवल परमेश्वर ही है जो ऐसी शक्ति रखता है और फ़िरौन के लिए परमेश्वर ही यह करेगा।”
فَقَالَ فِرْعَوْنُ لِيُوسُفَ: «إِنِّي كُنْتُ فِي حُلْمِي وَاقِفًا عَلَى شَاطِئِ النَّهْرِ،
तब फ़िरौन ने कहा, “अपने सपने में, मैं नील नदी के किनारे खड़ा था।
وَهُوَذَا سَبْعُ بَقَرَاتٍ طَالِعَةٍ مِنَ النَّهْرِ سَمِينَةِ اللَّحْمِ وَحَسَنَةَ الصُّورَةِ، فَارْتَعَتْ فِي رَوْضَةٍ.
मैंने सात गायों को नदी से बाहर आते देखा और घास चरते देखा। ये गायें मोटी और सुन्दर थीं।
ثُمَّ هُوَذَا سَبْعُ بَقَرَاتٍ أُخْرَى طَالِعَةٍ وَرَاءَهَا مَهْزُولَةً وَقَبِيحَةَ الصُّورَةِ جِدًّا وَرَقِيقَةَ اللَّحْمِ. لَمْ أَنْظُرْ فِي كُلِّ أَرْضِ مِصْرَ مِثْلَهَا فِي الْقَبَاحَةِ.
तब मैंने अन्य सात गायों को नदी से बाहर आते देखा। वे गायें पतली और भद्दी थीं। मैंने मिस्र देश में जितनी गायें देखी हैं उनमें वे सब से अधिक बुरी थीं।
فَأَكَلَتِ الْبَقَرَاتُ الرَّقِيقَةُ وَالْقَبِيحَةُ الْبَقَرَاتِ السَّبْعَ الأُولَى السَّمِينَةَ.
और इन भद्दी और पतली गायों ने पहली सुन्दर सात गायों को खा डाला।
فَدَخَلَتْ أَجْوَافَهَا، وَلَمْ يُعْلَمْ أَنَّهَا دَخَلَتْ فِي أَجْوَافِهَا، فَكَانَ مَنْظَرُهَا قَبِيحًا كَمَا فِي الأَوَّلِ. وَاسْتَيْقَظْتُ.
लेकिन सात गायों को खाने के बाद तक भी वे पतली और भद्दी ही रहीं। तुम उनको देखो तो नहीं जान सकते कि उन्होंने अन्य सात गायों को खाया है। वे उतनी ही भद्दी और पतली दिखाई पड़ती थीं जितनी आरम्भ में थीं। तब मैं जाग गया।
ثُمَّ رَأَيْتُ فِي حُلْمِي وَهُوَذَا سَبْعُ سَنَابِلَ طَالِعَةٌ فِي سَاق وَاحِدٍ مُمْتَلِئَةً وَحَسَنَةً.
“तब मैंने अपने दूसरे सपने में अनाज की सात बालें एक ही अनाज के पीछे उगी देखीं। वे अनाज की बालें भरी हुई, अच्छी और सुन्दर थीं।
ثُمَّ هُوَذَا سَبْعُ سَنَابِلَ يَابِسَةً رَقِيقَةً مَلْفُوحَةً بِالرِّيحِ الشَّرْقِيَّةِ نَابِتَةٌ وَرَاءَهَا.
तब उनके बाद सात अन्य बालें उगीं। किन्तु ये बालें पतली, भद्दी और गर्म हवा से नष्ट थीं।
فَابْتَلَعَتِ السَّنَابِلُ الرَّقِيقَةُ السَّنَابِلَ السَّبْعَ الْحَسَنَةَ. فَقُلْتُ لِلسَّحَرَةِ، وَلَمْ يَكُنْ مَنْ يُخْبِرُنِي».
तब पतली बालों ने सात अच्छी बालों को खा डाला। “मैंने इस सपने को अपने लोगों को बताया जो जादूगर और गुणी हैं। किन्तु किसी ने सपने की व्याख्या मुझको नहीं समझाई। इसका अर्थ क्या है?”
فَقَالَ يُوسُفُ لِفِرْعَوْنَ: «حُلْمُ فِرْعَوْنَ وَاحِدٌ. قَدْ أَخْبَرَ اللهُ فِرْعَوْنَ بِمَا هُوَ صَانِعٌ.
तब यूसुफ ने फ़िरौन से कहा, “ये दोनों सपने एक ही अर्थ रखते हैं। परमेश्वर तुम्हें बता रहा है जो जल्दी ही होगा।
اَلْبَقَرَاتُ السَّبْعُ الْحَسَنَةُ هِيَ سَبْعُ سِنِينَ، وَالسَّنَابِلُ السَّبْعُ الْحَسَنَةُ هِيَ سَبْعُ سِنِينَ. هُوَ حُلْمٌ وَاحِدٌ.
सात अच्छी गायें और सात अच्छी अनाज की बालें सात वर्ष हैं, दोनों सपने एक ही हैं।
وَالْبَقَرَاتُ السَّبْعُ الرَّقِيقَةُ الْقَبِيحَةُ الَّتِي طَلَعَتْ وَرَاءَهَا هِيَ سَبْعُ سِنِينَ، وَالسَّنَابِلُ السَّبْعُ الْفَارِغَةُ الْمَلْفُوحَةُ بِالرِّيحِ الشَّرْقِيَّةِ تَكُونُ سَبْعَ سِنِينَ جُوعًا.
सात दुबली और भद्दी गायें तथा सात बुरी अनाज की बालें देश में भूखमरी के सात वर्ष हैं। ये सात वर्ष, अच्छे सात वर्षो के बाद आयेंगे।
هُوَ الأَمْرُ الَّذِي كَلَّمْتُ بِهِ فِرْعَوْنَ. قَدْ أَظْهَرَ اللهُ لِفِرْعَوْنَ مَا هُوَ صَانِعٌ.
परमेश्वर ने आपको यह दिखा दिया है कि जल्दी ही क्या होने वाला है। यह वैसा ही होगा जैसा मैंने कहा है।
هُوَذَا سَبْعُ سِنِينَ قَادِمَةٌ شِبَعًا عَظِيمًا فِي كُلِّ أَرْضِ مِصْرَ.
आपके सात वर्ष पूरे मिस्र में अच्छी पैदावार और भोजन बहुतायत के होंगे।
ثُمَّ تَقُومُ بَعْدَهَا سَبْعُ سِنِينَ جُوعًا، فَيُنْسَى كُلُّ الشِّبَعْ فِي أَرْضِ مِصْرَ وَيُتْلِفُ الْجُوعُ الأَرْضَ.
लेकिन इन सात वर्षों के बाद पूरे देश में भूखमरी के सात वर्ष आएंगे। जो सारा भोजन मिस्र में पैदा हुवा है उसे लोग भूल दाएंगे। यह अकाल देश को नष्ट कर देगा।
وَلاَ يُعْرَفُ الشِّبَعُ فِي الأَرْضِ مِنْ أَجْلِ ذلِكَ الْجُوعِ بَعْدَهُ، لأَنَّهُ يَكُونُ شَدِيدًا جِدًّا.
भरपूर भोजनस्मरण रखना लोग भूल जाएंगे कि क्या होता है?
وَأَمَّا عَنْ تَكْرَارِ الْحُلْمِ عَلَى فِرْعَوْنَ مَرَّتَيْنِ، فَلأَنَّ الأَمْرَ مُقَرَّرٌ مِنْ قِبَلِ اللهِ، وَاللهُ مُسْرِعٌ لِيَصْنَعَهُ.
“हे फ़िरौन, आपने एक ही बात के बारे में दो सपने देखे थे। यह इस बात को दिखाने के लिए हुआ कि परमेश्वर निश्चय ही ऐसा होने देगा और यह बताया है कि परमेश्वर इसे जल्दी ही होने देगा।
«فَالآنَ لِيَنْظُرْ فِرْعَوْنُ رَجُلاً بَصِيرًا وَحَكِيمًا وَيَجْعَلْهُ عَلَى أَرْضِ مِصْرَ.
इसलिए हे फ़िरौन आप एक ऐसा व्यक्ति चुनें जो बहुत चुस्त और बुद्धिमान हो। आप उसे मिस्र देश का प्रशासक बनाएँ।
يَفْعَلْ فِرْعَوْنُ فَيُوَكِّلْ نُظَّارًا عَلَى الأَرْضِ، وَيَأْخُذْ خُمْسَ غَلَّةِ أَرْضِ مِصْرَ فِي سَبْعِ سِنِي الشِّبَعِ،
तब आप दूसरे व्यक्तियों को जनता से भोजन इकट्ठा करने के लिए चुनें। हर व्यक्ति सात अच्छे वर्षों में जितना भोजन उत्पन्न करे, उसका पाँचवाँ हिस्सा दे।
فَيَجْمَعُونَ جَمِيعَ طَعَامِ هذِهِ السِّنِينَ الْجَيِّدَةِ الْقَادِمَةِ، وَيَخْزِنُونَ قَمْحًا تَحْتَ يَدِ فِرْعَوْنَ طَعَامًا فِي الْمُدُنِ وَيَحْفَظُونَهُ.
इन लोगों को आदेश दें कि जो अच्छे वर्ष आ रहे हैं उनमें सारा भोजन इकट्ठा करें। व्यक्तियों से कह दें कि उन्हें नगरों में भोजन जमा करने का अधिकार है। तब वे भोजन की रक्षा उस समय तक करेंगे जब उनकी आवश्यकता होगी।
فَيَكُونُ الطَّعَامُ ذَخِيرَةً لِلأَرْضِ لِسَبْعِ سِنِي الْجُوعِ الَّتِي تَكُونُ فِي أَرْضِ مِصْرَ، فَلاَ تَنْقَرِضُ الأَرْضُ بِالْجُوعِ».
वह भोजन मिस्र देश में आने वाले भूखमरी के सात वर्षों में सहायता करेगा। तब मिस्र में सात वर्षों में लोग भोजन के अभाव में मरेंगे नहीं।”
فَحَسُنَ الْكَلاَمُ فِي عَيْنَيْ فِرْعَوْنَ وَفِي عُيُونِ جَمِيعِ عَبِيدِهِ.
फ़िरौन को यह अच्छा विचार मालूम हुआ। इससे सभी अधिकारी सहमत थे।
فَقَالَ فِرْعَوْنُ لِعَبِيدِهِ: «هَلْ نَجِدُ مِثْلَ هذَا رَجُلاً فِيهِ رُوحُ اللهِ؟»
फ़िरौन ने अपने अधिकारियों से पूछा, “क्या तुम लोगों में से कोई इस काम को करने के लिए यूसुफ से अच्छा व्यक्ति ढूँढ सकता है? परमेश्वर की आत्मा ने इस व्यक्ति को सचमुच बुद्धिमान बना दिया है।”
ثُمَّ قَالَ فِرْعَوْنُ لِيُوسُفَ: «بَعْدَ مَا أَعْلَمَكَ اللهُ كُلَّ هذَا، لَيْسَ بَصِيرٌ وَحَكِيمٌ مِثْلَكَ.
फ़िरौन ने यूसुफ से कहा, “परमेश्वर ने ये सभी चीज़ें तुम को दिखाई हैं। इसलिए तुम ही सर्वाधिक बुद्धिमान हो।
أَنْتَ تَكُونُ عَلَى بَيْتِي، وَعَلَى فَمِكَ يُقَبِّلُ جَمِيعُ شَعْبِي إِلاَّ إِنَّ الْكُرْسِيَّ أَكُونُ فِيهِ أَعْظَمَ مِنْكَ».
इसलिए मैं तुमको देश का प्रशासक बनाऊँगा। जनता तुम्हारे आदेशों का पालन करेगी। मैं अकेला इस देश में तुम से बड़ा प्रशासक रहूँगा।”
ثُمَّ قَالَ فِرْعَوْنُ لِيُوسُفَ: «انْظُرْ، قَدْ جَعَلْتُكَ عَلَى كُلِّ أَرْضِ مِصْرَ».
एक विशेष समारोह और प्रदर्शन था जिसमें फ़िरौन ने यूसुफ को प्रशासक बनाया तब फ़िरौन ने यूसुफ से कहा, “मैं अब तुम्हें मिस्र के पूरे देश का प्रशासक बनाता हूँ।”
وَخَلَعَ فِرْعَوْنُ خَاتِمَهُ مِنْ يَدِهِ وَجَعَلَهُ فِي يَدِ يُوسُفَ، وَأَلْبَسَهُ ثِيَابَ بُوصٍ، وَوَضَعَ طَوْقَ ذَهَبٍ فِي عُنُقِهِ،
तब फिरौन ने अपनी राज्य की मुहर वाली अगूँठी यूसुफ को दी और यूसुफ को एक सुन्दर रेशमी वस्त्र पहनने को दिया। फ़िरौन ने यूसुफ के गले में एक सोने का हार डाला।
وَأَرْكَبَهُ فِي مَرْكَبَتِهِ الْثَّانِيَةِ، وَنَادَوْا أَمَامَهُ «ارْكَعُوا». وَجَعَلَهُ عَلَى كُلِّ أَرْضِ مِصْرَ.
फ़िरौन ने दूसरे श्रेणी के राजकीय रथ पर यूसुफ को सवार होने को कहा। उसके रथ के आगे विशेष रक्षक चलते थे। वे लोगों से कहते थे, “हे लोगो, यूसुफ को झुककर प्रणाम करो। इस तरह यूसुफ पूरे मिस्र का प्रशासक बना।”
وَقَالَ فِرْعَوْنُ لِيُوسُفَ: «أَنَا فِرْعَوْنُ. فَبِدُونِكَ لاَ يَرْفَعُ إِنْسَانٌ يَدَهُ وَلاَ رِجْلَهُ فِي كُلِّ أَرْضِ مِصْرَ».
फ़िरौन ने उससे कहा, “मैं सम्राट फ़िरौन हूँ। इसलिए मैं जो करना चाहूँगा, करूँगा। किन्तु मिस्र में कोई अन्य व्यक्ति हाथ पैर नहीं हिला सकता है जब तक तुम उसे न कहो।”
وَدَعَا فِرْعَوْنُ اسْمَ يُوسُفَ «صَفْنَاتَ فَعْنِيحَ»، وَأَعْطَاهُ أَسْنَاتَ بِنْتَ فُوطِي فَارَعَ كَاهِنِ أُونَ زَوْجَةً. فَخَرَجَ يُوسُفُ عَلَى أَرْضِ مِصْرَ.
फ़िरौन ने उसे दूसरा नाम सापन तपानेह दिया। फ़िरौन ने आसनत नाम की एक स्त्री, जो ओन के याजक पोतीपेरा की पुत्री थी, यूसुफ को पत्नी के रूप में दी। इस प्रकार यूसुफ पूरे मिस्र देश का प्रशासक हो गया।
وَكَانَ يُوسُفُ ابْنَ ثَلاَثِينَ سَنَةً لَمَّا وَقَفَ قُدَّامَ فِرْعَوْنَ مَلِكِ مِصْرَ. فَخَرَجَ يُوسُفُ مِنْ لَدُنْ فِرْعَوْنَ وَاجْتَازَ فِي كُلِّ أَرْضِ مِصْرَ.
यूसुफ उस समय तीस वर्ष का था जब वह मिस्र के सम्राट की सेवा करने लगा। यूसुफ ने पूरे मिस्र देश में यात्राएँ कीं।
وَأَثْمَرَتِ الأَرْضُ فِي سَبْعِ سِنِي الشِّبَعِ بِحُزَمٍ.
अच्छे सात वर्षों में देश में पैदावार बहुत अच्छी हुई
فَجَمَعَ كُلَّ طَعَامِ السَّبْعِ سِنِينَ الَّتِي كَانَتْ فِي أَرْضِ مِصْرَ، وَجَعَلَ طَعَامًا فِي الْمُدُنِ. طَعَامَ حَقْلِ الْمَدِينَةِ الَّذِي حَوَالَيْهَا جَعَلَهُ فِيهَا.
और यूसुफ ने मिस्र में सात वर्ष खाने की चीजें बचायीं। यूसुफ ने भोजन नगरों में जमा किया। यूसुफ ने नगर के चारों ओर के खेतों के उपजे अन्न को हर नगर में जमा किया।
وَخَزَنَ يُوسُفُ قَمْحًا كَرَمْلِ الْبَحْرِ، كَثِيرًا جِدًّا حَتَّى تَرَكَ الْعَدَدَ، إِذْ لَمْ يَكُنْ لَهُ عَدَدٌ.
यूसुफ ने बहुत अन्न इकट्ठा किया। यह समुद्र के बालू के सदृश था। उसने इतना अन्न इकट्ठा किया कि उसके वजन को भी न आँका जा सके।
وَوُلِدَ لِيُوسُفَ ابْنَانِ قَبْلَ أَنْ تَأْتِيَ سَنَةُ الْجُوعِ، وَلَدَتْهُمَا لَهُ أَسْنَاتُ بِنْتُ فُوطِي فَارَعَ كَاهِنِ أُونَ.
यूसुफ की पत्नी आसनत ओन के याजक पोतीपरा कि पुत्री थी। भूखमरी के पहले वर्ष के आने के पूर्व यूसुफ और आसनेत के दो पुत्र हुए।
وَدَعَا يُوسُفُ اسْمَ الْبِكْرِ «مَنَسَّى» قَائِلاً: «لأَنَّ اللهَ أَنْسَانِي كُلَّ تَعَبِي وَكُلَّ بَيْتِ أَبِي».
पहले पुत्र का नाम मनश्शे रखा गया। यूसुफ ने उसका यह नाम रखा क्योंकि उसने बताया, “मुझे जितने सारे कष्ट हुए तथा घर की हर बात परमेश्वर ने मुझसे भुला दी।”
وَدَعَا اسْمَ الثَّانِى «أَفْرَايِمَ» قَائِلاً: «لأَنَّ اللهَ جَعَلَنِي مُثْمِرًا فِي أَرْضِ مَذَلَّتِي».
यूसुफ ने दूसरे पुत्र का नाम एप्रैम रखा। यूसुफ ने उसका नाम यह रखा क्योंकि उसने बताया, “मुझे बहुत दुःख मिला, लेकिन परमेश्वर ने मुझे फुलाया—फलाया।”
ثُمَّ كَمِلَتْ سَبْعُ سِنِي الشِّبَعِ الَّذِي كَانَ فِي أَرْضِ مِصْرَ.
सात वर्ष तक लोगों के पास खाने के लिए यह सब भोजन था जिसकी उन्हें आवश्यकता थी और जो चीजें उन्हें आवश्यक थीं वे सभी उगती थीं।
وَابْتَدَأَتْ سَبْعُ سِنِي الْجُوعِ تَأْتِي كَمَا قَالَ يُوسُفُ، فَكَانَ جُوعٌ فِي جَمِيعِ الْبُلْدَانِ. وَأَمَّا جَمِيعُ أَرْضِ مِصْرَ فَكَانَ فِيهَا خُبْزٌ.
किन्तु सात वर्ष वाद भूखमरी के दिन शुरु हुए। यह ठीक वैसा ही हुआ जैसा यूसुफ ने कहा था। सारी भूमि में चारों ओर अन्न पैदा न हुआ। लोगों के पास खाने को कुछ न था। किन्तु मिस्र में लोगों के खाने के लिए काफी था, क्योंकि यूसुफ ने अन्न जमा कर रखा था।
وَلَمَّا جَاعَتْ جَمِيعُ أَرْضِ مِصْرَ وَصَرَخَ الشَّعْبُ إِلَى فِرْعَوْنَ لأَجْلِ الْخُبْزِ، قَالَ فِرْعَوْنُ لِكُلِّ الْمِصْرِيِّينَ: «اذْهَبُوا إِلَى يُوسُفَ، وَالَّذِي يَقُولُ لَكُمُ افْعَلُوا».
भूखमरी का समय शुरु हुआ और लोग भोजन के लिए फ़िरौन के सामने रोने लगे। फ़िरौन ने मिस्री लोगों से कहा, “यूसुफ से पूछो। वही करो जो वह करने को कहता है।”
وَكَانَ الْجُوعُ عَلَى كُلِّ وَجْهِ الأَرْضِ، وَفَتَحَ يُوسُفُ جَمِيعَ مَا فِيهِ طَعَامٌ وَبَاعَ لِلْمِصْرِيِّينَ. وَاشْتَدَّ الْجُوعُ فِي أَرْضِ مِصْرَ.
इसलिए जब देश में सर्वत्र भूखमरी थी, यूसुफ ने अनाज के गोदामों से लोगों को अन्न दिया। यूसुफ ने जमा अन्न को मिस्र के लोगों को बेचा। मिस्र में बहुत भयंकर अकाल था।
وَجَاءَتْ كُلُّ الأَرْضِ إِلَى مِصْرَ إِلَى يُوسُفَ لِتَشْتَرِيَ قَمْحًا، لأَنَّ الْجُوعَ كَانَ شَدِيدًا فِي كُلِّ الأَرْضِ.
मिस्र के चारों ओर के देशों के लोग अनाज खरीदने मिस्र आए। वे यूसुफ के पास आए क्योंकि वहाँ संसार के उस भाग में सर्वत्र भूखमरी थी।