Psalms 97

यहोवा शासनकरता है, और धरती प्रसन्न हैं। और सभी दूर के देश प्रसन्न हैं
اَلرَّبُّ قَدْ مَلَكَ، فَلْتَبْتَهِجِ الأَرْضُ، وَلْتَفْرَحِ الْجَزَائِرُ الْكَثِيرَةُ.
यहोवा को काले गहरे बादल घेरे हुए हैं। नेकी और न्याय उसके राज्य को दूढ़ किये हैं।
السَّحَابُ وَالضَّبَابُ حَوْلَهُ. الْعَدْلُ وَالْحَقُّ قَاعِدَةُ كُرْسِيِّهِ.
यहोवा के सामने आग चला करती है, और वह उसके बैरियों का नाश करती है।
قُدَّامَهُ تَذْهَبُ نَارٌ وَتُحْرِقُ أَعْدَاءَهُ حَوْلَهُ.
उसकी बिजली गगन में काँधा करती है। लोग उसे देखते हैं और भयभीत रहते हैं।
أَضَاءَتْ بُرُوقُهُ الْمَسْكُونَةَ. رَأَتِ الأَرْضُ وَارْتَعَدَتْ.
यहोवा के सामने पहाड़ ऐसे पिघल जाते हैं, जैसे मोम पिघल जाती है। वे धरती के स्वामी के सामने पिघल जाते हैं।
ذَابَتِ الْجِبَالُ مِثْلَ الشَّمْعِ قُدَّامَ الرَّبِّ، قُدَّامَ سَيِّدِ الأَرْضِ كُلِّهَا.
अम्बर उसकी नेकी का बखान करते हैं। हर कोई परमेश्वर की महिमा देख ले।
أَخْبَرَتِ السَّمَاوَاتُ بِعَدْلِهِ، وَرَأَى جَمِيعُ الشُّعُوبِ مَجْدَهُ.
लोग उनकी मूर्तियों की पूजा करते हैं। वे अपने “देवताओं” की डींग हाँकते हैं। लेकिन वे लोग लज्जित होंगे। उनके “देवता” यहोवा के सामने झुकेंगे और उपासना करेंगे।
يَخْزَى كُلُّ عَابِدِي تِمْثَال مَنْحُوتٍ، الْمُفْتَخِرِينَ بِالأَصْنَامِ. اسْجُدُوا لَهُ يَا جَمِيعَ الآلِهَةِ.
हे सिय्योन, सुन और प्रसन्न हो! यहूदा के नगरों, प्रसन्न हो! क्यों? क्योंकि यहोवा विवेकपूर्ण न्याय करता है।
سَمِعَتْ صِهْيَوْنُ فَفَرِحَتْ، وَابْتَهَجَتْ بَنَاتُ يَهُوذَا مِنْ أَجْلِ أَحْكَامِكَ يَا رَبُّ.
हे सर्वोच्च यहोवा, सचमुच तू ही धरती पर शासन करता हैं। तू दूसरे “देवताओं” से अधिक उत्तम है।
لأَنَّكَ أَنْتَ يَا رَبُّ عَلِيٌّ عَلَى كُلِّ الأَرْضِ. عَلَوْتَ جِدًّا عَلَى كُلِّ الآلِهَةِ.
जो लोग यहोवा से प्रेम रखते हैं, वे पाप से घृणा करते हैं। इसलिए परमेश्वर अपने अनुयायियों की रक्षा करता है। परमेश्वर अपने अनुयायियों को दुष्ट लोगों से बचाता है।
يَا مُحِبِّي الرَّبِّ، أَبْغِضُوا الشَّرَّ. هُوَ حَافِظٌ نُفُوسَ أَتْقِيَائِهِ. مِنْ يَدِ الأَشْرَارِ يُنْقِذُهُمْ.
ज्योति और आनन्द सज्जनों पर चमकते हैं।
نُورٌ قَدْ زُرِعَ لِلصِّدِّيقِ، وَفَرَحٌ لِلْمُسْتَقِيمِي الْقَلْبِ.
हे सज्जनों परमेश्वर में प्रसन्न रहो! उसके पवित्र नाम का आदर करते रहो!
افْرَحُوا أَيُّهَا الصِّدِّيقُونَ بِالرَّبِّ، وَاحْمَدُوا ذِكْرَ قُدْسِهِ.