وَلَمَّا عَلِمَ بُولُسُ أَنَّ قِسْمًا مِنْهُمْ صَدُّوقِيُّونَ وَالآخَرَ فَرِّيسِيُّونَ، صَرَخَ فِي الْمَجْمَعِ:«أَيُّهَا الرِّجَالُ الإِخْوَةُ، أَنَا فَرِّيسِيٌّ ابْنُ فَرِّيسِيٍّ. عَلَى رَجَاءِ قِيَامَةِ الأَمْوَاتِ أَنَا أُحَاكَمُ».
फिर जब पौलुस को पता चला कि उनमें से आधे लोग सदूकी हैं और आधे फ़रीसी तो महासभा के बीच उसने ऊँचे स्वर में कहा, “हे भाईयों, मैं फ़रीसी हूँ एक फ़रीसी का बेटा हूँ। मरने के बाद फिर से जी उठने के प्रति मेरी मान्यता के कारण मुझ पर अभियोग चलाया जा रहा है!”