I začujem: sve stvorenje, i na nebu, i na zemlji, i pod zemljom, i u moru - sve na njima i u njima govori: "Onomu koji sjedi na prijestolju i Jaganjcu blagoslov i čast, i slava i vlast u vijeke vjekova!"
फिर मैंने सुना कि स्वर्ग की, धरती पर की, पाताल लोक की, समुद्र की, समूची सृष्टि — हाँ, उस समूचे ब्रह्माण्ड का हर प्राणी कह रहा था:
“जो सिंहासन पर बैठा है और मेमना का स्तुति,
आदर, महिमा और पराक्रम सर्वदा रहें!”