किन्तु गरीब आदमी के पास, एक छोटे मादा मेमने के अतिरिक्त जिसे उसने खरीदा था, कुछ न था। गरीब आदमी उस मेमने को खिलाता था। यह मेमना उस गरीब आदमी के भोजन में से खाता था और उसके प्याले में से पानी पीता था। मेमना गरीब आदमी की छाती से लग कर सोता था। मेमना उस व्यक्ति की पुत्री के समान था।
“तब एक यात्री धनी व्यक्ति से मिलने के लिये वहाँ आया। धनी व्यक्ति यात्री को भोजन देना चाहता था। किन्तु धनी व्यक्ति अपनी भेड़ या अपने पशुओं में से किसी को यात्री को खिलाने के लिये नहीं लेना चाहता था। उस धनी व्यक्ति ने उस गरीब से उसका मेमना ले लिया। धनी व्यक्ति ने उसके मेमने को मार डाला और अपने अतिथि के लिये उसे पकाया।”
तब नातान ने दाऊद से कहा, “तुम वो धनी पुरुष हो! यहोवा इस्राएल का परमेश्वर यह कहता है: ‘मैंने तुम्हारा अभिषेक इस्राएल के राजा के रूप में किया। मैंने तुम्हे शाऊल से बचाया।
मैंने उसका परिवार और उसकी पत्नियाँ तुम्हें लेने दीं, और मैंने तुम्हें इस्राएल और यहूदा का राजा बनाया। जैसे वह पर्याप्त नहीं हो, मैंने तुम्हें अधिक से अधिक दिया।
फिर तुमने यहोवा के आदेश की उपेक्षा क्यों की? तुमने वह क्यों किया जिसे वह पाप कहता है। तुमने हित्ती ऊरिय्याह को तलवार से मारा और तुमने उसकी पत्नी को अपनी पत्नी बनाने के लिये लिया। हाँ, तुमने ऊरिय्याह को अम्मोनियों की तलवार से मार डाला।
इसलिये सदैव तुम्हारे परिवार में कुछ लोग ऐसे होगें जो तलवार से मारे जायेंगे। तुमने ऊरिय्याह हित्ती की पत्नी ली। इस प्रकार तुमने यह प्रकट किया कि तुम मेरी परवाह नहीं करते।’
“यही है जो यहोवा कहता है: ‘मैं तुम्हारे विरुद्ध आपत्तियाँ ला रहा हूँ। यह आपत्ति तुम्हारे अपने परिवार से आएंगी। मैं तुम्हारी पत्नियों को ले लूँगा और उसे दूँगा जो तुम्हारे बहुत अधिक समीप है। यह व्यक्ति तुम्हारी पत्नियों के साथ सोएगा और इसे हर एक जानेगा।
तब दाऊद ने नातान से कहा, “मैंने यहोवा के विरुद्ध पाप किया है।” नातान ने दाऊद से कहा, “यहोवा तुम्हें क्षमा कर देगा, यहाँ तक की इस पाप के लिये भी तुम मरोगे नहीं।
दाऊद के परिवार के प्रमुख आये और उन्होंने उसे भूमि से उठाने का प्रयत्न किया। किन्तु दाऊद ने उठना अस्वीकार किया। उसने इन प्रमुखों के साथ खाना खाने से भी इन्कार कर दिया।
सातवें दिन बच्चा मर गया। दाऊद के सेवक दाऊद से यह कहने से डरते थे कि बच्चा मर गया। उन्होंने कहा, “देखो, हम लोगों ने दाऊद से उस समय बात करने का प्रयत्न किया जब बच्चा जीवित था। किन्तु उसने हम लोगों की बात सुनने से इन्कार कर दिया। यदि हम दाऊद से कहेंगे कि बच्चा मर गया तो हो सकता है वह अपने को कुछ हानि कर ले।”
किन्तु दाऊद ने अपने सेवकों को कानाफूसी करते देखा। तब उसने समझ लिया कि बच्चा मर गया। इसलिये दाऊद ने अपने सेवकों से पूछा, “क्या बच्चा मर गया?” सेवको ने उत्तर दिया, “हाँ वह मर गया”
दाऊद फर्श से उठा। वह नहाया। उसने अपने वस्त्र बदले और तैयार हुआ। तब वह यहोवा के गृह में उपासना करने गया। तब वह घर गया और कुछ खाने को माँगा। उसके सेवकों ने उसे कुछ खाना दिया और उसने खाया।
दाऊद के नौकरों ने उससे कहा, “आप यह क्यों कर रहे हैं? जब बच्चा जीवित था तब आपने खाने से इन्कार किया। आप रोये। किन्तु जब बच्चा मर गया तब आप उठे और आपने भोजन किया।”
दाऊद ने कहा, “जब बच्चा जीवित रहा, मैंने भोजन करना अस्वीकार किया, और मैं रोया क्योंकि मैंने सोचा, ‘कौन जानता है, संभव है यहोवा मेरे लिये दुःखी हो और बच्चे को जीवित रहने दे।’
किन्तु अब बच्चा मर गया। इसलिये मैं अब खाने से क्यो इन्कार करूँ? क्या मैं बच्चे को फिर जीवित कर सकता हूँ? नहीं! किसी दिन मैं उसके पास जाऊँगा, किन्तु वह मेरे पास लौटकर नहीं आ सकता।”
तब दाऊद ने अपनी पत्नी बतशेबा को सान्त्वाना दी। वह उसके साथ सोया और उसके साथ शारीरिक सम्बन्ध किया। बतशेबा फिर गर्भवती हुई। उसका दूसरा पुत्र हुआ। दाऊद ने उस लड़के का नाम सुलैमान रखा। यहोवा सुलैमान से प्रेम करता था।
अब अन्य लोगों को साथ लायें और इस नगर (रब्बा) पर आक्रमण करें। इस नगर पर अधिकार कर लो, इसके पहले कि मैं इस पर अधिकार करूँ। यदि इस नगर पर मैं अधिकार करता हूँ तो उस नगर का नाम मेरे नाम पर होगा।”
दाऊद ने उनके राजा के सिर से मुकुट उतार दिया। मुकुट सोने का था और वह तौल में लगभग पचहत्तर पौंड था। इस मुकुट में बहुमूल्य रत्न थे। उन्होंने मुकुट को दाऊद के सिर पर रखा। दाऊद नगर से बहुत सी कीमती चीजें ले गया।
दाऊद रब्बा नगर से भी लोगों को बाहर लाया। दाऊद ने उन्हें आरे, लोहे की गैती और कुल्हाड़ियों से काम करवाया। उसने उन्हें ईटों से निर्माण करने के लिये भी विवश किया। दाऊद ने वही व्यवहार सभी अम्मोनी नगरों के साथ किया। तब दाऊद और उसकी सारी सेना यरूशलेम लौट गई।