شَبَا وَدَدَانُ وَتُجَّارُ تَرْشِيشَ وَكُلُّ أَشْبَالِهَا يَقُولُونَ لَكَ: هَلْ لِسَلْبِ سَلْبٍ أَنْتَ جَاءٍ؟ هَلْ لِغُنْمِ غَنِيمَةٍ جَمَعْتَ جَمَاعَتَكَ، لِحَمْلِ الْفِضَّةِ وَالذَّهَبِ، لأَخْذِ الْمَاشِيَةِ وَالْقُنْيَةِ، لِنَهْبِ نَهْبٍ عَظِيمٍ؟
“शबा, ददान और तर्शीश के व्यापारी और सभी नगर जिनके साथ वे व्यापार करते हैं, तुमसे पूछेंगे, ‘क्या तुम कीमती चीजों पर अधिकार करने आये हो क्या तुम अपने सैनिकों के समूहों के साथ, उन अच्छी चीजों को हड़पने और चाँदी, सोना मवेशी तथा सम्पत्ति ले जाने आए थे? क्या तुम उन सभी कीमती चीजों को लेने आये थे?’