यहोवा निर्धन लोगों के लिये जो जरुरतमंद हैं, तू सुरक्षा का स्थान है।
अनेक विपत्तियाँ उनको पराजित करने को आती हैं किन्तु तू उन्हें बचाता है।
तू एक ऐसा भवन है जो उनको तूफानी वर्षा से बचाता है
और तू एक ऐसी हवा है जो उनको गर्मी से बचाती है।
विपत्तियाँ भयानक आँधी और घनघोर वर्षा जैसी आती हैं।
वर्षा दीवारों से टकराती हैं और नीचे बह जाती है किन्तु मकान में जो लोग हैं, उनको हानि नहीं पहुँचती है।
Porque tens sido a fortaleza do pobre, a fortaleza do necessitado na sua angústia, refúgio contra a tempestade, e sombra contra o calor, pois o assopro dos violentos é como a tempestade contra o muro.