वह यही कारण था जिससे मैं
उन जनों से क्रोधित था, और फिर मैंने कहा था,
‘इनके हृदय सदा भटकते रहते हैं ये मेरे मार्ग जानते नहीं हैं।’
لِذلِكَ مَقَتُّ ذلِكَ الْجِيلَ، وَقُلْتُ: إِنَّهُمْ دَائِمًا يَضِلُّونَ فِي قُلُوبِهِمْ، وَلكِنَّهُمْ لَمْ يَعْرِفُوا سُبُلِي.